बिष्णुगढ के प्रवासी मजदूर की बिशाखापटन में हुई मौत

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*बिष्णुगढ़*:प्रवासी मजदूरों की मौत का सिलसिला थमता नजर नहीं आ रहा है।इसी क्रम में हजारीबाग जिले के थाना क्षेत्र अंतर्गत रखवा के मजदूर की बिशाखापटन में रविवार को बिशाखापटनम में मौत हो गयी।मिली जानकारी के अनुसार बताया जा रहा है कि बिष्णुगढ थाना क्षेत्र अंतर्गत रखवा निवासी जगदीश महतो के 45 वर्षीय पुत्र लीलो महतो की में मौत हो गयी। मौत की सूचना मिलते ही परिजन सकते में है तो वहीं गांव वाले भी शोक में हैं।घाटना के कारणों के बारे में अभी तक कोई पूरी जानकारी नहीं मिल सकी है।मृतक लीलो महतो एलएनटी कंपनी में कार्यरत था।मृतक अपने पीछे पत्नी उर्मिला देवी,पुत्र पवन कुमार(20),जयंति कुमारी(18) व पर्वत कुमार(15) को छोड़ गया।इस घटना की सूचना मिलते ही प्रवासी मजदूरों के हित में कार्य करने वाले समाजसेवी सिकन्दर अली रखवा फहुंकर परिवार के प्रति संवेदना प्रकट करते हुए करते हुए कहा कि झारखंड के नौजवानों की मौत के मुंह में समा जाने की यह पहली घटना नहीं है।इससे पहले भी कई लोगों की मौत हो चुकी है।रोजी-रोटी की तलाश में परदेस गये प्रवासी झारखंडी मजदूरों की मौत का सिलसिला जारी है। हर रोज झारखंड के किसी न किसी इलाके से प्रवासी मजदूर की दूसरे राज्यों या विदेश में मौत की खबरें आ रही है।प्रवासी मजदूरों की सबसे ज्यादा तादाद गिरिडीह, हजारीबाग और बोकारो जिले से रोजी कमाने गये लोगों की है।अपना घर छोड़कर परदेस गये इन मजदूरों की जिंदगी तो कष्ट में बीतती ही है, मौत के बाद भी उनकी रूह को चैन नसीब नहीं होता है।किसी की लाश हफ्ते भर बाद आती है, तो किसी को 3 महीने भी लग जाते हैं।ऐसे में सरकार को रोज़गार के ऐसी व्यवस्था करनी चाहिए।ताकि मजदूरो का पलायन रोका जा सके।

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